For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

पुस्तक समीक्षा

Information

पुस्तक समीक्षा

इस ग्रुप में पुस्तकों की समीक्षा लिखी जा सकती है |

Location: Vishva
Members: 121
Latest Activity: Feb 19, 2024

Discussion Forum

पुस्तक समीक्षा : मोहरे (उपन्यास)

समीक्षा पुस्तक   : मोहरे (उपन्यास)लेखक              : दिलीप जैनमूल्य               :  रुपये 150/-प्रकाशक           : बोधि प्रकाशन, जयपुर (राज.)आय एस बी एन : 978-93-5536-602-3                    ‘मोहरे’ जो स्वयं नहीं चलते. उनको चलाया जाता है किसी और…Continue

Started by Ashok Kumar Raktale Feb 19, 2024.

पुस्तक समीक्षा: सुर्ख़ लाल रंग (कहानी संग्रह) 1 Reply

पुस्तक का नाम : सुर्ख़ लाल रंगविधा: कहानी सँग्रहलेखक: विनय कुमार प्रकाशक: अगोरा प्रकाशन मूल्य : 499/- रु (सज़िल्द) 160 /- (अज़िल्द)प्रथम संस्करण: वर्ष 2022पृष्ठ संख्या : 120 ज़मीन से जुड़ी माटी की महक लिए हुए विनय कुमार जी की कहानियाँविनय कुमार जी का यह…Continue

Started by KALPANA BHATT ('रौनक़'). Last reply by विनय कुमार Sep 18, 2023.

पुस्तक समीक्षा : ‘कहे जैन कविराय’ (कुण्डलिया संग्रह)

रचनाकार : अशोक कुमार जैन प्रकाशक : अमोघ प्रकाशन, गुरुग्राम-122001(हरियाणा) मूल्य : रूपये १००/- मात्र.               ‘कहे…Continue

Tags: समीक्षा

Started by Ashok Kumar Raktale Sep 30, 2022.

समीक्षा : चाक पर घूमती रही मिट्टी

पुस्तक : चाक पर घुमती रही मिट्टी (ग़ज़ल संग्रह)रचनाकार : आराधना प्रसादप्रकाशक : ग्रथ अकादमी, 19, पहली मंज़िल,2, अंसारी रोड,दरियागंज, नई दिल्ली-02मूल्य : 250/- मात्र.पृष्ठ संख्या : 128                    पहले रचनाकार आराधना प्रसाद का परिचय करा दूँ। यह…Continue

Started by Ashok Kumar Raktale Jul 9, 2022.

"लघुकथा कौमुदी"  -  यथार्थ और कल्पना के बीच की ज़मीन पर पनपती लघुकथाएँ. . .

"लघुकथा कौमुदी"  -  यथार्थ और कल्पना के बीच की ज़मीन पर पनपती लघुकथाएँ. . .वर्तमान में लघुकथा, साहित्य की एक ऐसी विधा बन चुकी है जिसकी कथ्य शैली का विस्तार निरंतर बढ़ रहा है। बहुत से रचनाकार अपनी अभिव्यक्ति को, पहले से तय मानकों से हटकर  लिखने का…Continue

Tags: सँग्रह, लघुकथा

Started by VIRENDER VEER MEHTA May 1, 2022.

समीक्षा -समकालीन मुकरियाँ 1 Reply

समीक्षा : ‘समकालीन मुकरियाँ ’ सम्पादक – त्रिलोक सिंह ठकुरेला ISBN : 978-81-95138-18-0 प्रकाशक – राजस्थानी ग्रन्थागार,…Continue

Started by Anamika singh Ana. Last reply by Ashok Kumar Raktale Jan 24, 2022.

समीक्षा : 'न बहुरे लोक के दिन' (नवगीत संग्रह) 2 Replies

‘न बहुरे लोक के दिन’रचनाकार – अनामिका सिंहप्रकाशक – बोधि प्रकाशन, जयपुर (राज.)ISBN : 978-93-5536-091-5मूल्य -  रूपये…Continue

Tags: दिन, के, लोक, बहुरे,

Started by Ashok Kumar Raktale. Last reply by Ashok Kumar Raktale Jan 14, 2022.

समीक्षा पुस्तक : दोहा-सागर

समीक्षा : दोहा-सागर रचयिता : पंकज शर्मा ‘तरुण’ प्रकाशक : उत्कर्ष प्रकाशन, 142, शाक्य पूरा, कंकर खेडा, मेरठ केंट-२५०००१, (उ.प्र.) प्रथम संस्करण 2019 मूल्य : रुपये 150/-. पंकज शर्मा ‘तरुण’ का दोहा-संग्रह ‘दोहा-सागर’ हाथ में आया तो बहुत प्रसन्नता हुई.…Continue

Started by Ashok Kumar Raktale May 1, 2020.

देवभूमि के इतिहास का गौरव-पृष्ठ है –यह उपन्यास ‘चन्द्रवंशी’ ::डॉ. गोपाल नारायन श्रीवास्तव

अतीत से जुड़ना भी एक मानवीय प्रवृत्ति है I जिन साहित्यकारों को अतीत से मोह होता है वे प्रायशः भारतीय इतिहास के किसी गौरवशाली पृष्ठ को टटोलते हैं और उसमे निहित सामग्री या इतिवृत्त के आधार पर कथा या काव्य रचते हैं I रामायण और महाभारत पर आधारित…Continue

Started by डॉ गोपाल नारायन श्रीवास्तव Dec 31, 2019.

समीक्षा पुस्तक : टुकड़ा-टुकड़ा धूप (दोहा संकलन) 1 Reply

पुस्तक : टुकड़ा-टुकड़ा धूप (दोहा संकलन)सम्पादक : रेखा लोढ़ा ‘स्मित’सह-सम्पादक : वीरेंद्र कुमार लोढ़ामूल्य : रूपये 150/- मात्रप्रकाशक : बोधि प्रकाशन,सी-46, सुदर्शनपुरा इंडस्ट्रियल एरिया एक्सटेंशन,नाला रोड, 22 गोदाम, जयपुर -302006             दोहा एक ऐसा…Continue

Started by Ashok Kumar Raktale. Last reply by Saurabh Pandey May 7, 2019.

 
 
 

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity

Nilesh Shevgaonkar commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - आँखों की बीनाई जैसा
"आ. अमीरुद्दीन अमीर साहब जब मलाई लिख दिया गया है यानी किसी प्रोसेस से अलगाव तो हुआ ही है न..दूध…"
3 hours ago
Ashok Kumar Raktale commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post पहलगाम ही क्यों कहें - दोहे
"आदरणीय भाई लक्ष्मण धामी जी सादर, पहलगाम की जघन्य आतंकी घटना पर आपने अच्छे दोहे रचे हैं. उस पर बहुत…"
18 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on सुरेश कुमार 'कल्याण''s blog post दोहा चतुर्दशी (महाकुंभ)
"आदरणीय सुरेश कल्याण जी, महाकुंभ विषयक दोहों की सार्थक प्रस्तुति के लिए हार्दिक धन्यवाद. एक बात…"
20 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on सुरेश कुमार 'कल्याण''s blog post दोहा सप्तक
"वाह वाह वाह !  आदरणीय सुरेश कल्याण जी,  स्वामी दयानंद सरस्वती जैसे महान व्यक्तित्व को…"
20 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post मौत खुशियों की कहाँ पर टल रही है-लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"जय हो..  हार्दिक धन्यवाद आदरणीय "
yesterday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post पहलगाम ही क्यों कहें - दोहे
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी,  जिन परिस्थितियों में पहलगाम में आतंकी घटनाओं को अंजाम दिया गया, वह…"
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी left a comment for Shabla Arora
"आपका स्वागत है , आदरणीया Shabla jee"
yesterday
Shabla Arora updated their profile
yesterday
Shabla Arora is now a member of Open Books Online
Monday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post दोहा पंचक. . . अपनत्व
"आदरणीय सौरभ जी  आपकी नेक सलाह का शुक्रिया । आपके वक्तव्य से फिर यही निचोड़ निकला कि सरना दोषी ।…"
Monday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-174
"शुभातिशुभ..  अगले आयोजन की प्रतीक्षा में.. "
Sunday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-174
"वाह, साधु-साधु ऐसी मुखर परिचर्चा वर्षों बाद किसी आयोजन में संभव हो पायी है, आदरणीय. ऐसी परिचर्चाएँ…"
Sunday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service