For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

ज्ञानियों से ज्ञान लेना चाहिये
गल्तियों को मान लेना चाहिये |

स्वस्थ रहने का सरल सिद्धांत है
पेय - जल को छान लेना चाहिये |

रास्ते सब खुद ब खुद मिल जायेंगे
लक्ष्य मन में ठान लेना चाहिये |

इस जहां में दोस्तों की शक्ल को
दूर से पहचान लेना चाहिये |

धन न वैभव सुख कभी दे पाएंगे
प्रेम का वरदान लेना चाहिये |

दिल कहे कि पात्रता रखता है तू
तब कोई सम्मान लेना चाहिये |

ज़िंदगी का अर्थ क्या है ऐ अरुण
अनुभवों से जान लेना चाहिये |

अरुण कुमार निगम
आदित्य नगर, दुर्ग (छत्तीसगढ़)
विजय नगर, जबलपुर (मध्यप्रदेश)

Views: 484

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by Ashok Kumar Raktale on February 4, 2013 at 11:56pm

आदरणीय अरुण निगम साहब सादर, सुन्दर गजल, अनुभव के ज्ञान को तो मान लेने में ही भलाई है. सादर.


सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on February 4, 2013 at 8:05pm

ग़ज़ब ! ग़ज़ल में सुभाषित !! ..

ज़िन्दग़ी का अनुभवों के बरअक्स देखना सभी कहते हैं, आज उसकी फिर से ताक़ीद हुई देखना भला लगा. मक्ते के लिए विशेष बधाई.

ग़ज़लों की बह्र पर बेजोड़ अंकुश रखा है आपने, आदरणीय. पुनः बहुत -बहुत बधाई..

Comment by Meena Pathak on February 4, 2013 at 1:42pm

बहुत सुन्दर रचना ... बधाई स्वीकारें 

Comment by ram shiromani pathak on February 4, 2013 at 11:29am

वाह सर, बहुत खूब!!!!!!!!!!!!!!

इस सुन्दर रचना हेतु हार्दिक ह्रदय से बधाई स्वीकारें. सादर


सदस्य कार्यकारिणी
Comment by rajesh kumari on February 3, 2013 at 8:31pm

बहुत उम्दा सीख देती हुई ग़ज़ल हेतु बधाई अरुण जी 

दिल कहे कि पात्रता रखता है तू
तब कोई सम्मान लेना चाहिये |

ज़िंदगी का अर्थ क्या है ऐ अरुण
अनुभवों से जान लेना चाहिये |

 वाह दोनों शेर में बहुत उत्कृष्ट भाव 

Comment by Aarti Sharma on February 3, 2013 at 7:23pm

वाह सर, बहुत खूब ..बधाई स्वीकारें.. 

Comment by अरुन 'अनन्त' on February 3, 2013 at 5:42pm

वाह गुरुदेव श्री वाह बहुत ही सरलता पूर्वक आपने अच्छी बातें सिखाई हैं. ये सारी बातें अगर हम अपना लें तो जीवन धन्य हो जाएगा. इस सुन्दर रचना हेतु हार्दिक ह्रदय से बधाई स्वीकारें. सादर

Comment by vijay nikore on February 3, 2013 at 4:58pm

इतने सरल शब्दों में इ्तनी  सारी और इतनी  अच्छी सीख!

वाह....वाह!

विजय निकोर

Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on February 3, 2013 at 2:05pm
दिल कहे कि पात्रता रखता है तू
तब कोई सम्मान लेना चाहिये |
बहुत सुन्दर सीख देती जीवन में अपनाने योग्य, हार्दिक बधाई श्री अरुण कुमार निगम जी 

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Admin posted a discussion

"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-186

ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 186 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है | इस बार का मिसरा आज के दौर के…See More
Sunday
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-181
"  क्या खोया क्या पाया हमने बीता  वर्ष  सहेजा  हमने ! बस इक चहरा खोया हमने चहरा…"
Sunday
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-181
"सप्रेम वंदेमातरम, आदरणीय  !"
Sunday
Admin added a discussion to the group चित्र से काव्य तक
Thumbnail

Re'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 174

आदरणीय काव्य-रसिको !सादर अभिवादन !!  ’चित्र से काव्य तक’ छन्दोत्सव का यह एक सौ…See More
Saturday
Admin replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-181
"स्वागतम"
Friday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on Saurabh Pandey's blog post कौन क्या कहता नहीं अब कान देते // सौरभ
"आदरणीय रवि भाईजी, आपके सचेत करने से एक बात् आवश्य हुई, मैं ’किंकर्तव्यविमूढ़’ शब्द के…"
Friday
Admin posted a discussion

"ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-181

आदरणीय साहित्य प्रेमियो, जैसाकि आप सभी को ज्ञात ही है, महा-उत्सव आयोजन दरअसल रचनाकारों, विशेषकर…See More
Dec 10
anwar suhail updated their profile
Dec 6
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' posted a blog post

न पावन हुए जब मनों के लिए -लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"

१२२/१२२/१२२/१२****सदा बँट के जग में जमातों में हम रहे खून  लिखते  किताबों में हम।१। * हमें मौत …See More
Dec 5
ajay sharma shared a profile on Facebook
Dec 4
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"शुक्रिया आदरणीय।"
Dec 1
Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी जी, पोस्ट पर आने एवं अपने विचारों से मार्ग दर्शन के लिए हार्दिक आभार।"
Nov 30

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service