For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

"OBO लाइव तरही मुशायरे"/"OBO लाइव महा उत्सव"/"चित्र से काव्य तक" प्रतियोगिता के सम्बन्ध मे पूछताछ

"OBO लाइव तरही मुशायरे"/"OBO लाइव महा उत्सव"/"चित्र से काव्य तक" प्रतियोगिता के सम्बन्ध मे यदि किसी तरह की जानकारी चाहिए तो आप यहाँ पूछताछ कर सकते है !

Views: 11918

Reply to This

Replies to This Discussion

mhautsv ank 9 hetu rachnaaen khan posr kren

मुख्य पृष्ठ पर फोरम में लिंक रहता है, आप महा उत्सव के बैनर को भी क्लिक कर रचना पोस्ट कर सकते है, अभी उक्त महा उत्सव समाप्त हो गया है |

च लो ज़िन्दगी को मो हब्बत ब ना दें
1 2 2 1 2 2 1 22 1 2 2


Please Koi Ye batayega ki
(1) Kya ye mene upar sahi counting ki he ??

(2) agar ye sahi he to मो ko 1 aur को ko 2 kyo?

(3) shayad ye मो ko gira kar kiya jaa raha he, aisa mene gajal ki kaksha me pada thaa, but confusion he...pls explain me this...

Thanks

तपन जी जैसा की आप जानते है, ग़ज़ल ध्वनी आधारित मात्रिक छंद है ......

 

च1लो2 ज़िन२/ द1गी2 को२/ मु1हब२बत२/ ब1ना2दें२

 

इस तकतई को देख ले, उम्मीद है आप समझ गए होंगे | एक बात और ग़ज़ल शिल्प आदि के सम्बन्ध मे तकनिकी जानकारी ग़ज़ल की कक्षा से प्राप्त करे,

मेरे विचार में मात्रा का उच्चारण किस  तरह किया जा रहा यह महत्वपूर्ण है , जरूरत के हिसाब से 'मो' का उच्चारण १ या २ दोनों में से कोई भी हो सकता  है ...

मोहब्बत का मो कभी २ नहीं हो सकता क्योंकि मोहब्बत का उच्चारण मुहब्बत की तरह किया जाता है| उसी तरह जिस तरह तोहफा का तो कभी २ नहीं सकता क्योंकि सही उच्चारण तुहफ की तरह होता है|

good

// 


Permalink Reply by Tapan Dubey on July 28, 2011 at 9:08pm

च लो ज़िन्दगी को मो हब्बत ब ना दें
1 2 2 1 2 2 1 22 1 2 2//

ये अरकान सहीह है ।

//  agar ye sahi he to मो ko 1 aur को ko 2 kyo?//

आपने ऊपर मिसरा ग़लत लिखा है इसलिए "मो" पढ़ रहे हैं:-

'चलो ज़िन्दगी को महब्बत बना दें'

सहीह शब्द "महब्बत" है न कि 'मोहब्बत'

उम्मीद है शंका का समाधान हुआ होगा?

thanks ganesh ji

महोदय,

एक सुझाव करना चाहता हूँ l

"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक - १३ --- जितनी भी गज़लें प्रदर्शित हुई,उनमेंसे उम्दा बेहतरीन शेर चुन चुन कर अगर समापन किया तो एक 'ख़ूबसूरत महा-ग़ज़ल 'तैयार हो जायेगी l


---- अरविंद 

सुझाव
"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक - १६ के लिए नया मिसरा दिया गया है जो कि निदा साहब की मशहूर ग़ज़ल से लिया गया है

"ज़िन्दगी क्या है किताबों को हटा कर देखो"


आपने इस मिसरे का वज्न लिखा है
2122            2122       2122        22 

ज़िन्दगी क्या/ है किताबों/ को हटा कर/ देखो
फायलातुन फायलातुन  फायलातुन फैलुन

मगर इस ग़ज़ल का वज्न यह नहीं अपितु
२१२२ / ११२२ / ११२२  / २२

है
तख्तीय कर रहा हूँ देख लें
यदि आप बह्र बदल देंगे तो जो लोग धुन के पर लिखते हैं उनको लिखने में दिक्कत होगी और यह नियमतः गलत भी है
निवेदन है कि लोग इस मिसरे पर लिखना शुरु करें उससे पहले ही आप इसे बदल दें अथवा बह्र बदल कर सही लिख दें
सही बह्र हैं
२१२२ / ११२२ / ११२२ / २२
फाएलातुन / फएलातनु / फएलातुन / फैलुन
रमल मुसममन मख़बून महज़ूफ़


RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय लक्ष्मण धामी भाई मुसाफ़िर जी आदाब ग़ज़ल का अच्छा प्रयास हुआ है बधाई स्वीकार करें, आदरणीय…"
1 hour ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"मुहतरमा ऋचा यादव जी आदाब, ग़ज़ल पर आपकी आमद और सुख़न नवाज़ी का तह-ए-दिल से शुक्रिया।"
1 hour ago
DINESH KUMAR VISHWAKARMA replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"सम्माननीय ऋचा जी सादर नमस्कार। ग़ज़ल तकआने व हौसला बढ़ाने हेतु शुक्रियः।"
1 hour ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"//मशाल शब्द के प्रयोग को लेकर आश्वस्त नहीं हूँ। इसे आपने 121 के वज्न में बांधा है। जहाँ तक मैं…"
1 hour ago
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय दिनेश जी नमस्कार बहुत ख़ूब ग़ज़ल हुई है हर शेर क़ाबिले तारीफ़ है गिरह ख़ूब हुई सादर"
1 hour ago
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय दिनेश जी बहुत शुक्रिया आपका  सादर"
1 hour ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आ. भाई महेन्द्र जी, अभिवादन। गजल का प्रयास अच्छा हुआ है। हार्दिक बधाई। गुणीजनो की सलाह से यह और…"
3 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
शिज्जु "शकूर" replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमित जी, बेह्तरीन ग़ज़ल से आग़ाज़ किया है, सादर बधाई आपको आखिरी शे'र में…"
6 hours ago
Sanjay Shukla replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीया ऋचा जी बहुत धन्यवाद"
7 hours ago
Sanjay Shukla replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमीर जी, आपकी बहुमूल्य राय का स्वागत है। 5 में प्रकाश की नहीं बल्कि उष्मा की बात है। दोनों…"
7 hours ago
Sanjay Shukla replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमित जी। आप की मूल्यवान राय का स्वागत है।  2 मय और निश्तर पीड़ित हृदय के पुराने उपचार…"
7 hours ago
DINESH KUMAR VISHWAKARMA replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय महेंद्र कुमार जी नमस्कार। ग़ज़ल के अच्छे प्रयास हेतु बधाई।"
7 hours ago

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service