For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

ग़ज़ल (मुहब्बत से किनारा कर रहा है )

ग़ज़ल (मुहब्बत से किनारा कर रहा है )

------------------------------------------------

1222 --------1222 --------122

मुहब्बत से किनारा कर रहा है |

हमें वह बे सहारा  कर रहा है |

तुम्हारा देखना रह रह के मुझको

वफ़ा को आश्कारा  कर रहा है |

न कोई देख ले यह डर मुझे है

वो खिड़की से इशारा  कर रहा है |

युं ही क़ायम रहे यह दोस्ताना

कहाँ आलम गवारा  कर रहा है |

वो लाके ग़ैर को महफ़िल में मेरी

कलेजा पारा पारा  कर रहा है |

अचानक हिचकियाँ आती नहीं हैं

कोई चरचा हमारा कर रहा है |

कहीं रुस्वा न ऐ तस्दीक़ कर दे

तअर्रुफ़ जो तुम्हारा कर रहा है |

(मौलिक व अप्रकाशित )  

Views: 672

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 10, 2016 at 9:18pm

जनाब सुशील सरना  साहिब ,आपकी हौसला अफ़ज़ाई का बहुत बहुत शुक्रिया ,महरबानी

Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 10, 2016 at 9:17pm

जनाब जयनित कुमार साहिब ,आपकी हौसला अफ़ज़ाई का बहुत बहुत शुक्रिया ,महरबानी

Comment by Sushil Sarna on March 9, 2016 at 9:19pm

अचानक हिचकियाँ आती नहीं हैं
कोई चरचा हमारा कर रहा है |

वाह क्या बात है .... शानदार ग़ज़ल सर .... हार्दिक बधाई

Comment by जयनित कुमार मेहता on March 9, 2016 at 9:13pm
आदरणीय तस्दीक़ अहमद साहब, बहुत ही खूबसूरत ग़ज़ल से इस मंच को नवाज़ने के लिए दिली मुबारकबाद आपको।।
Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 9, 2016 at 8:25pm

जनाब  नरेन्द्र चौहान  साहिब ,आपकी हौसला अफ़ज़ाई का बहुत  बहुत शुक्रिया ,महरबानी

Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 9, 2016 at 8:24pm

जनाब लक्ष्मण धामी साहिब ,आपकी हौसला अफ़ज़ाई का बहुत  बहुत शुक्रिया ,महरबानी

Comment by narendrasinh chauhan on March 9, 2016 at 1:16pm

खूब सुन्दर रचना

Comment by लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' on March 9, 2016 at 11:37am

अचानक हिचकियाँ आती नहीं हैं
कोई चरचा हमारा कर रहा है |
.... बहुत ही खूबसूरत अशआर कहे हैं ,इस दिलकश प्रस्तुति के लिए दिल से बधाई स्वीकार करें आ० भाई तस्दीक़ अहमद जी l

Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 8, 2016 at 7:59pm

मोहतरम जनाब रवि शुक्ल  साहिब ,हौसला अफ़ज़ाई का बहुत बहुत शुक्रिया

Comment by Tasdiq Ahmed Khan on March 8, 2016 at 7:58pm

जनाब ब्रजेश कुमार साहिब ,हौसला अफ़ज़ाई का बहुत बहुत शुक्रिया

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity

अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आदरणीय दयाराम मेठानी जी आदाब, ग़ज़ल पर आपकी आमद और हौसला अफ़ज़ाई का तह-ए-दिल से शुक्रिया।"
4 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आ. भाई दयाराम जी, सादर आभार।"
4 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आ. भाई संजय जी हार्दिक आभार।"
4 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आ. भाई मिथिलेश जी, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए आभार।"
4 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आ. रिचा जी, हार्दिक धन्यवाद"
5 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आ. भाई दिनेश जी, सादर आभार।"
5 hours ago
Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आदरणीय रिचा यादव जी, पोस्ट पर कमेंट के लिए हार्दिक आभार।"
5 hours ago
Shyam Narain Verma commented on Aazi Tamaam's blog post ग़ज़ल: ग़मज़दा आँखों का पानी
"नमस्ते जी, बहुत ही सुंदर प्रस्तुति, हार्दिक बधाई l सादर"
7 hours ago
Shyam Narain Verma commented on मिथिलेश वामनकर's blog post ग़ज़ल: उम्र भर हम सीखते चौकोर करना
"नमस्ते जी, बहुत ही सुंदर प्रस्तुति, हार्दिक बधाई l सादर"
7 hours ago
Sanjay Shukla replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आदरणीय दिनेश जी, बहुत धन्यवाद"
7 hours ago
Sanjay Shukla replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आदरणीय दयाराम जी, बहुत धन्यवाद"
7 hours ago
DINESH KUMAR VISHWAKARMA replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-166
"आदरणीय दयाराम जी सादर नमस्कार। हौसला बढ़ाने हेतु आपका बहुत बहुत शुक्रियः"
8 hours ago

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service