For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

देशगीत (स्वतंत्रता दिवस पर विशेष)

जो कह गए शहीद, चलो उसको दुहराएँ |
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||

है दिन जिसको वीर, जीत कर के लाए थे,
चट्टानों को चीर, मौत से टकराए थे |
कर लें उनको याद, जिन्होंने शीश कटाए,
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||

नहीं सुगम था मार्ग, बिछे मिलते थे काँटे,
कैसे-कैसे दुःख, आर्यपुत्रों ने बाँटे |
अपना वो इतिहास, कभी भी हम न भुलाएँ,
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||

सावरकर, आजाद, भगत सिंह जैसे बेटे,
भारत माँ के नाम, बर्फ पर नंगे लेटे |
न मानी हार मगर, दुश्मन को हरा आए,
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||

गुँजित है आज गगन, भारत की हुँकारों से,
हुई थी शुरुआत, क्रांतिकारी नारों से |
अपना है अब काम, और आगे ले जाएँ,
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||

Views: 714

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by कुमार गौरव अजीतेन्दु on August 15, 2012 at 7:25pm

आदरणीय सौरभ सर, आपका हार्दिक आभार......आपको और समस्त ओ बी ओ परिवार को स्वतंत्रता दिवस की ढेर सारी शुभकामनाएँ | वन्दे मातरम |

Comment by कुमार गौरव अजीतेन्दु on August 15, 2012 at 7:23pm

अलबेला भैया, गीत को पसंद करने के लिए आपका हार्दिक आभार......स्वतंत्रता दिवस की बधाई......जय हिन्द

Comment by कुमार गौरव अजीतेन्दु on August 15, 2012 at 7:22pm

आदरणीय संजय यादव जी..........आपका बहुत-बहुत धन्यवाद और स्वतंत्रता दिवस की ढेर सारी शुभकामनाएँ |

Comment by कुमार गौरव अजीतेन्दु on August 15, 2012 at 7:20pm

आदरणीय आलोक जी....आपका हार्दिक आभार और स्वतंत्रता दिवस की ढेर सारी शुभकामनाएँ |


सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on August 15, 2012 at 6:01pm

जो कह गए शहीद, चलो उसको दुहराएँ |
आजादी का पर्व, आओ मिलकर मनाएँ ||.... .  

आपको भी स्वातंत्र्य दिवस की शुभकामनाएँ

Comment by Albela Khatri on August 15, 2012 at 2:40pm
वाह वाह
जय हिन्द !
Comment by Sanjay Rajendraprasad Yadav on August 15, 2012 at 1:17pm

धन्यवाद कुमार गौरव अजीतेन्दु जी........!!

शहीदों की चिताओं पर लगेंगे हर बरस मेले ,
वतन पर मर मिटने वालो को याद कर
आओ हम अपनी आँखे नम कर ले !!
जो खुद अपनी लहू से लिख चले अमर कहानी
आओ याद उन्हें हम का ले ...............!!!

Comment by ALOK KUMAR SINGH on August 15, 2012 at 12:52pm

आओ मिलकर मनाएँ आजादी का ६६वां पर्व

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity


सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"आदरणीया प्रतिभा जी, मेरे प्रयास को मान देने के लिए हार्दिक आभार। बहुत बहुत धन्यवाद। आपने सही कहा…"
yesterday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"जी, शुक्रिया। यह तो स्पष्ट है ही। "
yesterday
pratibha pande replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"सराहना और उत्साहवर्धन के लिए हार्दिक आभार आदरणीय उस्मानी जी"
Tuesday
pratibha pande replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"लघुकथा पर आपकी उपस्थित और गहराई से  समीक्षा के लिए हार्दिक आभार आदरणीय मिथिलेश जी"
Tuesday
Manan Kumar singh replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"आपका हार्दिक आभार आदरणीया प्रतिभा जी। "
Tuesday
pratibha pande replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"लेकिन उस खामोशी से उसकी पुरानी पहचान थी। एक व्याकुल ख़ामोशी सीढ़ियों से उतर गई।// आहत होने के आदी…"
Tuesday
pratibha pande replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"प्रदत्त विषय को सार्थक और सटीक ढंग से शाब्दिक करती लघुकथा के लिए हार्दिक बधाई स्वीकार करें आदरणीय…"
Tuesday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"आदाब। प्रदत्त विषय पर सटीक, गागर में सागर और एक लम्बे कालखंड को बख़ूबी समेटती…"
Tuesday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"हार्दिक धन्यवाद आदरणीय मिथिलेश वामनकर साहिब रचना पटल पर अपना अमूल्य समय देकर प्रतिक्रिया और…"
Tuesday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"तहेदिल बहुत-बहुत शुक्रिया जनाब मनन कुमार सिंह साहिब स्नेहिल समीक्षात्मक टिप्पणी और हौसला अफ़ज़ाई…"
Tuesday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"आदरणीया प्रतिभा जी प्रदत्त विषय पर बहुत सार्थक और मार्मिक लघुकथा लिखी है आपने। इसमें एक स्त्री के…"
Tuesday
pratibha pande replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)
"पहचान ______ 'नवेली की मेंहदी की ख़ुशबू सारे घर में फैली है।मेहमानों से भरे घर में पति चोर…"
Tuesday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service