कोरोना का संक्रमण सारे देश , जहान
है दुस्साध्य परिस्थिति , मुश्किल में है जान
इस संकट की घड़ी में हमको रहना एक
दृढ़ संकल्पित हों खड़े , भुला सभी मतभेद
सर्व हिताय खड़े हुए डा0 नर्स तमाम
पुलिस महकमे के लिए है आराम हराम
नित सफाई कर्मी करें बिना शिकन के काम
इनके सेवा भाव को शत , शत मेरा प्रणाम
आई है , टल जाएगी , यह जो बड़ी विपत्ति
अनुशासित घर में रहें बिना किसी आपत्ति
सब निरोग , सब हों सुखी , करना यही विचार
नि:सृत शब्दों से बहे अद्भुत शक्ति अपार
मौलिक एवं अप्रकाशित
Comment
आदाब ,आभार आपका
मुहतरमा ऊषा अवस्थी जी आदाब,अच्छी रचना हुई,बधाई ।
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