For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

भारत प्यारा वतन हमारा सबसे सुन्दर न्यारा देश

भारत प्यारा वतन हमारा सबसे सुन्दर न्यारा देश

इतनी भाषा जाति धर्म सब भाई-भाई हम सब एक
भरे उमंगें भरे ऊर्जा लिए तिरंगा हम सब दौड़ें
स्वस्थ बड़ी प्रतियोगिता हमारी एक-एक हम नभ को छू लें
.
ऐसा प्यार कहाँ जग में है पत्थर गढ़ते देव सा पूजें
मेहमानों को देव मानते मात-पिता गुरु चरणों पड़ते
भौतिक सुख लालच ईर्ष्या से दूर-दूर हम सब रहते
आत्म और परमात्म मिलन कर अनुपम सुख भोग करते
.
शावक से हम सिंह बने बलशाली वीर दहाड़ चलें
कदम ताल जय हिंद घोष कर पर्वत चढ़ नभ उड़ जाते
थल की सीमा मुट्ठी में है जल को बाँध विजय पथ जाते
आँख कोई दुश्मन दिखला दे बन नृसिंह छाती चढ़ जाते
.
प्रेम शांति की भाषा अपनी 'माँ' पर जान निछावर है
हर पल हर क्षण नूतन रचते मौसम प्रकृति सुहावन है
पुष्प खिले कलियाँ मुस्काए हैं वसंत मन-भावन है
कोयल कूकें, नाच मोर का, हरियाली, नित सावन है !
.
मोक्ष-दायिनी गंगा मैया चार धाम हैं स्वर्ग हिमालय सभी यहीं
ऋषि -मुनि की है तपस्थली ये पूजित होती देव भूमि प्यारी नगरी
सूर्य तेज ले 'लाल' हमारे करें रौशनी चन्दा 'शीतल' उजियारा करती
देवी बिटिया जग-जननी सरल-धीर ये गुण संस्कृति निज पोषा करती
आओ 'हाथ' जोड़ संग चल दें सत्य-अहिंसा शस्त्र लिए
'बल' पाए जिससे ये जगती रोटी-कपडा-वस्त्र मिले
मिटे गरीबी हो खुशहाली पढ़ें लिखें जग-गुरु बनें
चेहरे पर मुस्कान खिली हो लिए तिरंगा (तीन लोक में ) विजय करें !
.
सुरेन्द्र कुमार शुक्ल 'भ्रमर'५
७-७.४७ पूर्वाह्न

Views: 611

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by SURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMAR on August 16, 2012 at 6:36pm

आदरणीय सौरभ जी  जय श्री राधे ..आभार आप का आप से प्रोत्साहन मिला मन अभिभूत हुआ 

भ्रमर ५ 

सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on August 16, 2012 at 9:52am

बहुत बढ़िया, भाई भ्रमर जी. उत्साह वर्द्धन करता रचना-प्रयास .. .

Comment by SURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMAR on August 15, 2012 at 11:35pm

आदरणीय उमाशंकर मिश्र जी रचना देश के जवानों का जोश बढ़ती कुछ सन्देश देते आप के मन को छू सकी सुन ख़ुशी हुयी .........जय  हिंद ..प्रोत्साहन के लिए आभार ....स्वतन्त्रता  दिवस की बधाई 

भ्रमर ५ 
Comment by SURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMAR on August 15, 2012 at 11:34pm

आदरणीया महिमा जी जय हिंद ..प्रोत्साहन के लिए आभार ..बहुत दिनों बाद ......आशा है सब कुशल मंगल   ....स्वतन्त्रता  दिवस की बधाई 

भ्रमर ५ 
Comment by SURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMAR on August 15, 2012 at 11:33pm

आदरणीया रेखा  जी जय हिंद ..प्रोत्साहन के लिए आभार  ....स्वतन्त्रता  दिवस की बधाई 

भ्रमर ५ 
Comment by UMASHANKER MISHRA on August 15, 2012 at 9:49pm

आदरणीय सुरेन्द्र जी आज़ादी के पर्व पर आपकी यह रचना सार्थक सन्देश पूर्ण है

देश के जवानों के  उत्साह वर्धन करने वाली इस सुन्दर रचना को नमन

Comment by MAHIMA SHREE on August 15, 2012 at 5:57pm

आदरणीय भ्रमर सर , नमस्कार .. जय हिंद

आज पावन वेला पर देश को समर्पित सुंदर सशक्त रचना के लिए आपको बधाइयाँ

Comment by Rekha Joshi on August 15, 2012 at 12:59pm

आओ 'हाथ' जोड़ संग चल दें सत्य-अहिंसा शस्त्र लिए

'बल' पाए जिससे ये जगती रोटी-कपडा-वस्त्र मिले
मिटे गरीबी हो खुशहाली पढ़ें लिखें जग-गुरु बनें
चेहरे पर मुस्कान खिली हो लिए तिरंगा (तीन लोक में ) विजय करें !
आदरनीय सुरेन्द्र जी ,सुंदर अभिव्यक्ति ,बधाई 
Comment by SURENDRA KUMAR SHUKLA BHRAMAR on August 15, 2012 at 12:03pm

भौतिक सुख लालच ईर्ष्या से दूर-दूर हम सब रहते

आत्म और परमात्म मिलन कर अनुपम सुख भोगा  करते

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity

सुरेश कुमार 'कल्याण' commented on सुरेश कुमार 'कल्याण''s blog post दोहा सप्तक
"बहुत बहुत धन्यवाद आदरणीय लक्ष्मण धामी जी "
15 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' commented on सुरेश कुमार 'कल्याण''s blog post दोहा सप्तक
"आ. भाई सुरेश जी, सादर अभिवादन। सुंदर दोहे हुए हैं । हार्दिक बधाई।"
17 hours ago
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"सादर नमस्कार आदरणीय।  रचनाओं पर आपकी टिप्पणियों की भी प्रतीक्षा है।"
Friday
Manan Kumar singh replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"आपका हार्दिक आभार आदरणीय उस्मानी जी।नमन।।"
Friday
Manan Kumar singh replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"आपका हार्दिक आभार आदरणीय तेजवीर सिंह जी।नमन।।"
Friday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"बहुत ही भावपूर्ण रचना। शृद्धा के मेले में अबोध की लीला और वृद्धजन की पीड़ा। मेले में अवसरवादी…"
Friday
TEJ VEER SINGH replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"कुंभ मेला - लघुकथा - “दादाजी, मैं थक गया। अब मेरे से नहीं चला जा रहा। थोड़ी देर कहीं बैठ लो।…"
Friday
TEJ VEER SINGH replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"आदरणीय मनन कुमार सिंह जी, हार्दिक बधाई । उच्च पद से सेवा निवृत एक वरिष्ठ नागरिक की शेष जिंदगी की…"
Friday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"बढ़िया शीर्षक सहित बढ़िया रचना विषयांतर्गत। हार्दिक बधाई आदरणीय मनन कुमार सिंह जी।…"
Friday
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"रचना पटल पर उपस्थिति और विस्तृत समीक्षात्मक मार्गदर्शक टिप्पणी हेतु हार्दिक धन्यवाद आदरणीय तेजवीर…"
Friday
Manan Kumar singh replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"जिजीविषा गंगाधर बाबू के रिटायर हुए कोई लंबा अरसा नहीं गुजरा था।यही दो -ढाई साल पहले सचिवालय की…"
Friday
TEJ VEER SINGH replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-119
"आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी साहब जी , इस प्रयोगात्मक लघुकथा से इस गोष्ठी के शुभारंभ हेतु हार्दिक…"
Friday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service