For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

व्यंग रचना- अर्थ-तंत्र पर भारी

अर्थ-तंत्र पर भारी राज-तंत्र में गठबंधन सरकार,
गठबंधन-धर्म निभाने की मज़बूरी में यह सरकार |
 
ममता-सोनिया की डपट, कैसे करे दरकिनार,
उदासीन मनमोहन मौन हुए, संकट में सरकार |
 
लून,तेल,लकड़ी गायब हुए, बढ़ा तस्करी व्यापार,
आँख दिखाते पडौस के, हवा हुए सद्व्यवहार |
 
जन-हित से ऊपर हुआ, सत्ता-मद का मधुपान, 
सत्ता-मद के आगे नहीं, चाहे हो अमृत सोपान |

सच से कुछ मिलाता नहीं, झूठ में अम्रत प्याला,
सांचा  कुए पर प्यासा, झूठा जाता मधुशाला |
 
-लक्ष्मण प्रसाद लडीवाला,जयपुर  

Views: 730

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on June 4, 2012 at 6:21pm

 उत्साहवर्धन के लिए बहुत बहुत धन्यवाद महिमाश्रीजी

-लक्ष्मण प्रसाद लडीवाला
Comment by MAHIMA SHREE on June 3, 2012 at 10:47pm

आदरणीय लक्ष्मण सर ..

वर्तमान सरकार की पोल खोलती समसामयिक और सटीक रचना के लिए आपको ढेरो बधाइयाँ

Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on June 3, 2012 at 9:04am

सजरी संदीप कुमार पटेल जी और रेखा जोशीजी, धन्यवाद 

आप जैसे पारखी द्वारा व्यंग की सामयिक सार्थकता बताने 
पर मेरा उत्साह वर्धन हुआ है, हार्दिक आभार स्वीकारे | 
Comment by Rekha Joshi on June 2, 2012 at 9:03pm

लक्ष्मण जी ,बहुत बढ़िया रचना ,बधाई 

लून,तेल,लकड़ी गायब हुए, बढ़ा तस्करी व्यापार,
आँख दिखाते पडौस के, हवा हुए सद्व्यवहार |,bahut khub 
Comment by SANDEEP KUMAR PATEL on June 2, 2012 at 6:46pm

मौजूदा परिवेश को देखते हुए एक सार्थक रचना के लिए बधाई आपको

Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on June 2, 2012 at 2:22pm
श्री विश्वजीत यादवजी और आशीष यादव जी आपके उत्साह वर्धन के लिए 
हार्दिक धन्यवाद | -लक्ष्मण प्रसाद लडीवाला, जयपुर    
Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on June 2, 2012 at 2:18pm
डा. सूर्य बाली "सूरज" आपके उत्साह वर्धन के लिए शब्दों 
के चयन पर बधाई देते हुए हार्दिक धन्यवाद | आप जैसे 
सरस्वती के साधक के साथ मित्रता का वरद हस्त मुझे 
संबल प्रदान करेगा | स्वागत है | -लक्ष्मण प्रसाद लडीवाला, जयपुर    
Comment by Bishwajit yadav on June 1, 2012 at 10:37pm
लक्ष्मण जी बहुत अच्छा लिखे है आप और आगे इससे भी अच्छी रचना लिखे
Comment by आशीष यादव on June 1, 2012 at 8:53pm
अच्छा वार है। सामयिक रचना
Comment by डॉ. सूर्या बाली "सूरज" on June 1, 2012 at 7:27pm

लक्ष्मण जी आम आदमी की परेशानियों को उकेरती सुंदर रचना के लिए आपको बहुत बहुत बधाई !

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity


सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी's blog post was featured

एक धरती जो सदा से जल रही है [ गज़ल ]

एक धरती जो सदा से जल रही है   ********************************२१२२    २१२२     २१२२ एक इच्छा मन के…See More
yesterday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी posted a blog post

एक धरती जो सदा से जल रही है [ गज़ल ]

एक धरती जो सदा से जल रही है   ********************************२१२२    २१२२     २१२२ एक इच्छा मन के…See More
yesterday
Sushil Sarna posted a blog post

दोहा सप्तक. . . .तकदीर

दोहा सप्तक. . . . . तकदीर  होती है हर हाथ में, किस्मत भरी लकीर ।उसकी रहमत के बिना, कब बदले तकदीर…See More
yesterday
Admin added a discussion to the group चित्र से काव्य तक
Thumbnail

'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166

आदरणीय काव्य-रसिको !सादर अभिवादन !!  ’चित्र से काव्य तक’ छन्दोत्सव का यह एक सौ छियासठवाँ आयोजन है।.…See More
Monday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"आदरणीय  चेतन प्रकाश भाई  आपका हार्दिक आभार "
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"आदरणीय बड़े भाई  आपका हार्दिक आभार "
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"आभार आपका  आदरणीय  सुशील भाई "
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"भाई अखिलेश जी, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए हार्दिक आभार।"
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"भाई चेतन जी, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए धन्यवाद।"
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"भाई अमीरुद्दीन जी, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए आभार।"
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"आ. प्रतिभा बहन, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए हार्दिक धन्यवाद।"
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-173
"आ. भाई गिरिराज जी, सादर अभिवादन। गजल की प्रशंसा के लिए आभार।"
Sunday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service