For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

आदर्शों पर चल कर तो देखो

आदर्शों पर चल कर तो देखो,
सर उठा कर जी कर तो देखो.


अत्याचार, ज़ुल्म, और भ्रष्टाचार के आगे
आवाज़ बुलंद करके तो देखो.
मन की राह कठिन है

चुनौतियाँ जटिल है,
पर एक बार आवाज़

बुलंद करके तो देखो
आत्मसम्मान से भर उठोगे

गर्व से सर उठा सकोगे (और)
एक बार जो चख लिया

आत्मसम्मान का स्वाद
तो हर चुनौती पार करने को

बलवला उठोगे
बस ज़रूरत है साहस की

ज़रूरत है हिम्मत की.


आदर्शों पर चल कर तो देखो,
सर उठा कर जी कर तो देखो.


मोनिका जैन "डोली "

Views: 429

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online


प्रधान संपादक
Comment by योगराज प्रभाकर on March 3, 2012 at 10:25am

ओबीओ पर आपकी पहली रचना का स्वागत है मोनिका जी. आपकी कविता सुन्दर और सार्थक सन्देश देती है, मेरी दिली बधाई स्वीकार करें.

Comment by PRADEEP KUMAR SINGH KUSHWAHA on March 2, 2012 at 3:46pm

अत्याचार, ज़ुल्म, और भ्रष्टाचार के आगे 
आवाज़ बुलंद करके तो देखो.

kya lalkar hai. badhai


सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on February 29, 2012 at 10:55pm

सर्वप्रथम आपके प्रयास को साधुवाद, मोनिकाजी.  आपका आगमन आह्लादकारी है. ..!

 

प्रस्तुत रचना सुझावपरक है. किन्तु इसकी अंतर्धारा में प्रवाहित नैतिकता वैयक्तिक आत्मविश्वास के सुदृढ़ होने का कारण भी है.  इस लिहाज से प्रस्तुत रचना आश्वस्त करती है कि सोच अभी भी उस तरह से प्रदुषित नहीं हो पायी है. और, अभी भी मार्गदर्शक हैं.

 

इतना अवश्य है कि आने वाले समय में रचनाकार से तुकांत या अतुकांत की कसौटी पर कुछ और की अपेक्षा रहेगी जो पद्य के लालित्य का सुरूचिपूर्ण परावर्तन होगा. 

 

प्रस्तुत रचना की सार्थक प्रस्तुति पर हार्दिक शुभकामनाएँ और ढेरम्ढेर बधाइयाँ. 


मुख्य प्रबंधक
Comment by Er. Ganesh Jee "Bagi" on February 29, 2012 at 12:59pm

//बस ज़रूरत है साहस की

ज़रूरत है हिम्मत की.//

मोनिका जी , बिकुल सही कह रही है, यदि साहस और हिम्मत हो तो क्या नहीं हो सकता है, सब कुछ संभव है, बहुत ही खुबसूरत रचना , बहुत बहुत बधाई इस भावाभिव्यक्ति पर ।


सदस्य कार्यकारिणी
Comment by rajesh kumari on February 29, 2012 at 11:45am

prerna dayak sarahniye post monika ji.

Comment by ganesh lohani on February 29, 2012 at 11:20am

DSC04454 

बस ज़रूरत है साहस की

ज़रूरत है हिम्मत की.

मोनिका जी नमस्कार, बहुत सुंदर रचना.

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Mahendra Kumar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"इस प्रयास की सराहना हेतु दिल से आभारी हूँ आदरणीय लक्ष्मण जी। बहुत शुक्रिया।"
2 hours ago
Mahendra Kumar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"बहुत-बहुत शुक्रिया आदरणीय दिनेश जी। आभारी हूँ।"
2 hours ago
Zaif replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"212 1222 212 1222 रूह को मचलने में देर कितनी लगती है जिस्म से निकलने में देर कितनी लगती है पल में…"
2 hours ago
Mahendra Kumar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"सादर नमस्कार आ. ऋचा जी। उत्साहवर्धन हेतु दिल से आभारी हूँ। बहुत-बहुत शुक्रिया।"
2 hours ago
Mahendra Kumar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमीरुद्दीन जी, सादर अभिवादन। इस प्रयास की सराहना हेतु आपका हृदय से आभारी हूँ।  1.…"
2 hours ago
Mahendra Kumar replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमित जी, सादर अभिवादन! आपकी विस्तृत टिप्पणी और सुझावों के लिए हृदय से आभारी हूँ। इस सन्दर्भ…"
2 hours ago
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय लक्ष्मण जी नमस्कार ख़ूब ग़ज़ल कही आपने बधाई स्वीकार कीजिये गुणीजनों की इस्लाह क़ाबिले ग़ौर…"
3 hours ago
Richa Yadav replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय अमीर जी बहुत शुक्रिया आपका संज्ञान हेतु और हौसला अफ़ज़ाई के लिए  सादर"
3 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
शिज्जु "शकूर" replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"मोहतरम बागपतवी साहिब, गौर फरमाएँ ले के घर से जो निकलते थे जुनूँ की मशअल इस ज़माने में वो…"
4 hours ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय दिनेश कुमार विश्वकर्मा जी आदाब, तरही मिसरे पर अच्छी ग़ज़ल कही है आपने मुबारकबाद पेश करता…"
4 hours ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"मुहतरमा ऋचा यादव जी आदाब, तरही मिसरे पर ग़ज़ल का अच्छा प्रयास हुआ है बधाई स्वीकार करें, आ० अमित जी…"
4 hours ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-165
"आदरणीय लक्ष्मण धामी भाई मुसाफ़िर जी आदाब ग़ज़ल का अच्छा प्रयास हुआ है बधाई स्वीकार करें, आदरणीय…"
6 hours ago

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service