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Aazi Tamaam's Discussions (449)

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"सादर प्रणाम अनिल जी बहुत खूब ग़ज़ल हुई गिरह वाला शैर बेहद खूबसूरत है सहृदय धन्यवाद"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
Reply by Samar kabeer

"सादर प्रणाम आदरणीय मसूद जी अच्छी ग़ज़ल हुई हक़ीक़त को छुपाने के लिये....  अच्छा लगा…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"सादर प्रणाम आदरणीय धामी जी अच्छी ग़ज़ल हुई भुलाकर दुश्मनी दुश्मन मिलाते हाथ कुर्सी…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"सादर प्रणाम आदरणीय नाथ जी हमेशा हमने देखा है तेरी दुनिया......  खूबसूरत शैर है अच्…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"सादर प्रणाम आदरणीय तश्दीक़ जी मिलन पर बंदिशे......... खूबसूरत शैर है अच्छी ग़ज़ल ह…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"सादर प्रणाम आदरणीय सालिक जी किया छलनी मेरा सीना..... बेहद खूबसूरत शैर है अच्छी ग़ज़…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"सादर प्रणाम आदरणीय निलेश जी उठे आवाज़ तो हाकिम नया..... बेहतरीन शैर है सहृदय धन्यवाद"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
Reply by Samar kabeer

"सादर प्रणाम आदरणीय अमीर जी बेहद खूबसूरत ग़ज़ल हुई है सहृदय धन्यवाद इक अच्छे शैर "स…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
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"मुआफ़ी चाहूँगा एक 1222 ग़लती से ज्यादा लिख गया है"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
Reply by Samar kabeer

"1222 1222 1222 1222 1222 ज़माने का "तमाम आज़ी" करम ऐसा भी होता है हवा देता है नफ़रत…"

Aazi Tamaam replied Mar 26, 2021 to "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-129

330 Mar 27, 2021
Reply by Samar kabeer

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२२ २२ २२ २२ २२ २चार पहर कट जाएँ अगर जो मुश्किल केहो जाएँ आसान रास्ते मंज़िल केहर पल अपना जिगर जलाना…See More
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212/212/212/212 **** केश जब तब घटा के खुले रात भर ठोस पत्थर  हुए   बुलबुले  रात भर।। * देख…See More
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"आदरणीय सौरभ भाईजी, समय देने के बाद भी एक त्रुटि हो ही गई।  सच तो ये है कि मेरी नजर इस पर पड़ी…"
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अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 170 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय लक्ष्मण भाईजी, इस प्रस्तुति को समय देने और प्रशंसा के लिए हार्दिक dhanyavaad| "
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सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 170 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय अखिलेश भाईजी, आपने इस प्रस्तुति को वास्तव में आवश्यक समय दिया है. हार्दिक बधाइयाँ स्वीकार…"
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सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 170 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय चेतन प्रकाश जी आपकी प्रस्तुति के लिए हार्दिक धन्यवाद. वैसे आपका गीत भावों से समृद्ध है.…"
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लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 170 in the group चित्र से काव्य तक
"आ. भाई अखिलेश जी, सादर अभिवादन। प्रदत्त चित्र को साकार करते सुंदर छंद हुए हैं। हार्दिक बधाई।"
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अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 170 in the group चित्र से काव्य तक
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