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Open Books Online परिवार के सब सदस्य लोगन से निहोरा बा कि भोजपुरी साहित्य और भोजपुरी से जुड़ल बात ऐह ग्रुप मे लिखी सभे ।
by Saurabh Pandey
Aug 13
२२ २२ २२ २२
आपन पहिले नाता पाछानाहक गइनीं उनका पाछा
का दइबा का आङन मीलल राहू-केतू आगा-पाछा कवना बाग-बगइचा जाओपतझड़ लागल जेकरा पाछा सावन-भादों पानी-पानी -अँखिया कइलस, बदरा पाछा रूप-सिङार करीं का कइसेसीसा टूटल रउआ पाछा परदा में हलचल के निकहा दुनिया जानल पल्ला पाछा मंच सजल बा गजब भाव सेपढ़ीं लतीफा कविता पाछा***
दि०: १३/ अग०/ २५ मौलिक आ अप्रकासित
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भोजपुरी साहित्य
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Open Books Online परिवार के सब सदस्य लोगन से निहोरा बा कि भोजपुरी साहित्य और भोजपुरी से जुड़ल बात ऐह ग्रुप मे लिखी सभे ।
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गजल - सीसा टूटल रउआ पाछा // --सौरभ
by Saurabh Pandey
Aug 13
२२ २२ २२ २२
आपन पहिले नाता पाछा
नाहक गइनीं उनका पाछा
का दइबा का आङन मीलल
राहू-केतू आगा-पाछा
कवना बाग-बगइचा जाओ
पतझड़ लागल जेकरा पाछा
सावन-भादों पानी-पानी -
अँखिया कइलस, बदरा पाछा
रूप-सिङार करीं का कइसे
सीसा टूटल रउआ पाछा
परदा में हलचल के निकहा
दुनिया जानल पल्ला पाछा
मंच सजल बा गजब भाव से
पढ़ीं लतीफा कविता पाछा
***
दि०: १३/ अग०/ २५
मौलिक आ अप्रकासित