Comments - आज फिर वो मुझे याद आने लगे - Open Books Online2024-03-29T12:36:59Zhttp://openbooks.ning.com/profiles/comment/feed?attachedTo=5170231%3ABlogPost%3A911445&xn_auth=noआ0 मु0 आरिफ साहब सादर आभार ।…tag:openbooks.ning.com,2018-02-02:5170231:Comment:9125422018-02-02T10:44:34.356ZNaveen Mani Tripathihttp://openbooks.ning.com/profile/NaveenManiTripathi
<p>आ0 मु0 आरिफ साहब सादर आभार । कबीर सर आजकल ओबीओ में नहीं आ पा रहे हैं । बाकी कोई इस्लाह देने वाला व्यक्ति लगता है ओबीओ में नहीं है । यह ओबीओ की लोकप्रियता पर संकट का बादल है । </p>
<p>आ0 मु0 आरिफ साहब सादर आभार । कबीर सर आजकल ओबीओ में नहीं आ पा रहे हैं । बाकी कोई इस्लाह देने वाला व्यक्ति लगता है ओबीओ में नहीं है । यह ओबीओ की लोकप्रियता पर संकट का बादल है । </p> खूब सुन्दर रचना tag:openbooks.ning.com,2018-01-29:5170231:Comment:9114682018-01-29T07:00:01.579Znarendrasinh chauhanhttp://openbooks.ning.com/profile/narendrasinhchauhan
<p>खूब सुन्दर रचना </p>
<p>खूब सुन्दर रचना </p> आदरणीय नवीन मणि त्रिपाठी जी आ…tag:openbooks.ning.com,2018-01-29:5170231:Comment:9113822018-01-29T05:46:33.238ZMohammed Arifhttp://openbooks.ning.com/profile/MohammedArif
<p>आदरणीय नवीन मणि त्रिपाठी जी आदाब,</p>
<p> शे'र दर शे'र दाद के साथ मुबारकबाद क़ुबूल कीजिए । बाक़ी गुणीजन अपनी राय देंगे ।</p>
<p>आदरणीय नवीन मणि त्रिपाठी जी आदाब,</p>
<p> शे'र दर शे'र दाद के साथ मुबारकबाद क़ुबूल कीजिए । बाक़ी गुणीजन अपनी राय देंगे ।</p> आ0 सुरेंद्र नाथ सिंह कुश क्षत…tag:openbooks.ning.com,2018-01-29:5170231:Comment:9113782018-01-29T03:25:51.800ZNaveen Mani Tripathihttp://openbooks.ning.com/profile/NaveenManiTripathi
<p>आ0 सुरेंद्र नाथ सिंह कुश क्षत्रप जी सादर आभार</p>
<p>आ0 सुरेंद्र नाथ सिंह कुश क्षत्रप जी सादर आभार</p> आ0 तेजवीर सिंह जी सादर आभार ।tag:openbooks.ning.com,2018-01-29:5170231:Comment:9114592018-01-29T03:25:02.793ZNaveen Mani Tripathihttp://openbooks.ning.com/profile/NaveenManiTripathi
<p>आ0 तेजवीर सिंह जी सादर आभार ।</p>
<p>आ0 तेजवीर सिंह जी सादर आभार ।</p> आद0 नवीन जी सादर अभिवादन।बेहत…tag:openbooks.ning.com,2018-01-28:5170231:Comment:9114542018-01-28T23:43:32.719Zनाथ सोनांचलीhttp://openbooks.ning.com/profile/SurendraNathSingh
<p>आद0 नवीन जी सादर अभिवादन।बेहतरीन ग़ज़ल कहि आपने, बधाई आपको, इस प्रस्तुति पर।</p>
<p>आद0 नवीन जी सादर अभिवादन।बेहतरीन ग़ज़ल कहि आपने, बधाई आपको, इस प्रस्तुति पर।</p> हार्दिक बधाई आदरणीय नवीन मणि…tag:openbooks.ning.com,2018-01-28:5170231:Comment:9113662018-01-28T16:57:01.083ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooks.ning.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक बधाई आदरणीय नवीन मणि जी।बेहतरीन गज़ल।</p>
<p>जिनको चलना सिखाया था मैंने कभी ।</p>
<p>राह मुझको वही अब बताने लगे ।।</p>
<p>हार्दिक बधाई आदरणीय नवीन मणि जी।बेहतरीन गज़ल।</p>
<p>जिनको चलना सिखाया था मैंने कभी ।</p>
<p>राह मुझको वही अब बताने लगे ।।</p>