Comments - ग़ज़ल-झील सा शीतल चाँद से सुन्दर लिख्खा है | - Open Books Online2024-03-28T10:22:17Zhttp://openbooks.ning.com/profiles/comment/feed?attachedTo=5170231%3ABlogPost%3A619791&xn_auth=noजनाब नीरज कुमार "नीर" जी,आदाब…tag:openbooks.ning.com,2015-04-09:5170231:Comment:6396062015-04-09T04:27:15.181ZSamar kabeerhttp://openbooks.ning.com/profile/Samarkabeer
जनाब नीरज कुमार "नीर" जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रगुज़ार हूँ |
जनाब नीरज कुमार "नीर" जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रगुज़ार हूँ | बहुत ही सुंदर गजल.... महीने क…tag:openbooks.ning.com,2015-04-08:5170231:Comment:6395722015-04-08T13:45:07.355ZNeeraj Neerhttp://openbooks.ning.com/profile/NeerajKumarNeer
<p>बहुत ही सुंदर गजल.... महीने की सर्वश्रेष्ठ रचना चुने जाने भी भी हार्दिक बधाई ... </p>
<p>बहुत ही सुंदर गजल.... महीने की सर्वश्रेष्ठ रचना चुने जाने भी भी हार्दिक बधाई ... </p> जनाब नादिर ख़ान जी,आदाब, आदाब…tag:openbooks.ning.com,2015-04-01:5170231:Comment:6372232015-04-01T12:37:51.095ZSamar kabeerhttp://openbooks.ning.com/profile/Samarkabeer
जनाब नादिर ख़ान जी,आदाब, आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया |
जनाब नादिर ख़ान जी,आदाब, आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया | जनाब समर कबीर साहब बेहतरीन ग…tag:openbooks.ning.com,2015-03-31:5170231:Comment:6363682015-03-31T05:58:56.465Zनादिर ख़ानhttp://openbooks.ning.com/profile/Nadir
<p> जनाब समर कबीर साहब बेहतरीन गज़ल की जितनी तारीफ करें कम है। <span>सर्वश्रेष्ठ रचना चुने जाने पर ढेरों मुबारकबाद ।</span></p>
<p> जनाब समर कबीर साहब बेहतरीन गज़ल की जितनी तारीफ करें कम है। <span>सर्वश्रेष्ठ रचना चुने जाने पर ढेरों मुबारकबाद ।</span></p> जनाब विजय निकोरे जी,आदाब,हौसल…tag:openbooks.ning.com,2015-03-25:5170231:Comment:6345742015-03-25T08:41:18.923ZSamar kabeerhttp://openbooks.ning.com/profile/Samarkabeer
जनाब विजय निकोरे जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया |
जनाब विजय निकोरे जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया | खूबसूरत गज़ल। बधाई।tag:openbooks.ning.com,2015-03-25:5170231:Comment:6346182015-03-25T07:32:35.181Zvijay nikorehttp://openbooks.ning.com/profile/vijaynikore
<p>खूबसूरत गज़ल। बधाई।</p>
<p>खूबसूरत गज़ल। बधाई।</p> जनाब डा.आशुतोष मिश्रा जी,आदाब…tag:openbooks.ning.com,2015-03-24:5170231:Comment:6345152015-03-24T16:35:12.120ZSamar kabeerhttp://openbooks.ning.com/profile/Samarkabeer
जनाब डा.आशुतोष मिश्रा जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया |
जनाब डा.आशुतोष मिश्रा जी,आदाब,हौसला अफ़ज़ाई के लिये तहे दिल से शुक्रिया | आदरणीय समीर जी ..इस उत्कृष्ट…tag:openbooks.ning.com,2015-03-24:5170231:Comment:6341862015-03-24T07:51:30.942ZDr Ashutosh Mishrahttp://openbooks.ning.com/profile/DrAshutoshMishra
<p>आदरणीय समीर जी ..इस उत्कृष्ट ग़ज़ल और इस ग़ज़ल के महीने की सर्वश्रेष्ठ ग़ज़ल चुने जाने पर मेरी हार्दिक बधाई स्वीकार करें ..सादर </p>
<p>आदरणीय समीर जी ..इस उत्कृष्ट ग़ज़ल और इस ग़ज़ल के महीने की सर्वश्रेष्ठ ग़ज़ल चुने जाने पर मेरी हार्दिक बधाई स्वीकार करें ..सादर </p> यही इस मंच की विशेषता है भाई…tag:openbooks.ning.com,2015-03-21:5170231:Comment:6330732015-03-21T06:47:33.806ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>यही इस मंच की विशेषता है भाई साहब. यहाँ जो जितना जानता है उसी समझ के अनुरूप किसी सदस्य के प्रश्नों का उत्तर देता है. उससे अधिक समझदार सदस्य या तो उस जवाब का अनुमोदन करता है या उसी जवाब में उससे आगे की बात जोड़ देता है.</p>
<p>यही तो ’सीखने-सिखाने’ की परिपाटी हुआ करती है न ?</p>
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<p>यही इस मंच की विशेषता है भाई साहब. यहाँ जो जितना जानता है उसी समझ के अनुरूप किसी सदस्य के प्रश्नों का उत्तर देता है. उससे अधिक समझदार सदस्य या तो उस जवाब का अनुमोदन करता है या उसी जवाब में उससे आगे की बात जोड़ देता है.</p>
<p>यही तो ’सीखने-सिखाने’ की परिपाटी हुआ करती है न ?</p>
<p></p> जनाब सौरभ पाण्डेय जी,आदाब,आपक…tag:openbooks.ning.com,2015-03-21:5170231:Comment:6332072015-03-21T05:37:59.158ZSamar kabeerhttp://openbooks.ning.com/profile/Samarkabeer
<p>जनाब सौरभ पाण्डेय जी,आदाब,आपकी इनायतों का कैसे शुक्रिया अदा करूँ कि आपने मेरी ग़ैर हाज़िरी में मोहतरमा निधि अग्रवाल जी को बह्र के बारे में जानकारी दी,इसी तरह स्नेह बनाए रखियेगा,आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार हूँ |</p>
<p>जनाब सौरभ पाण्डेय जी,आदाब,आपकी इनायतों का कैसे शुक्रिया अदा करूँ कि आपने मेरी ग़ैर हाज़िरी में मोहतरमा निधि अग्रवाल जी को बह्र के बारे में जानकारी दी,इसी तरह स्नेह बनाए रखियेगा,आपका तहे दिल से शुक्रगुज़ार हूँ |</p>