"ओ.बी.ओ. लाइव महा उत्सव" अंक-66 - Open Books Online2024-03-29T04:50:41Zhttp://openbooks.ning.com/forum/topics/66-2?commentId=5170231%3AComment%3A756930&feed=yes&xn_auth=noसहयोग और सहभागिता के लिए सभी…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7570622016-04-10T18:29:21.251ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>सहयोग और सहभागिता के लिए सभी सुधीजनों के प्रति आभार..</p>
<p>इस बार संचालक महोदय का नेट धोखा दे गया. वे शीघ्र ही संकलन तैयार कर समक्ष उपस्थित होंगे. </p>
<p>:-)))</p>
<p></p>
<p>शुभ-शुभ</p>
<p></p>
<p>सहयोग और सहभागिता के लिए सभी सुधीजनों के प्रति आभार..</p>
<p>इस बार संचालक महोदय का नेट धोखा दे गया. वे शीघ्र ही संकलन तैयार कर समक्ष उपस्थित होंगे. </p>
<p>:-)))</p>
<p></p>
<p>शुभ-शुभ</p>
<p></p> समाज में सामुहिकता की प्रतिष्…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571572016-04-10T18:26:33.424ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>समाज में सामुहिकता की प्रतिष्ठा हेतु आपके भाव स्तुत्य हैं आदरणीय विजय प्रकाश जी. </p>
<p>सादर शुभकामनाएँ</p>
<p></p>
<p>समाज में सामुहिकता की प्रतिष्ठा हेतु आपके भाव स्तुत्य हैं आदरणीय विजय प्रकाश जी. </p>
<p>सादर शुभकामनाएँ</p>
<p></p> वाह... ख़ुशी संग डर भी! समसाम…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571562016-04-10T18:23:38.756ZSheikh Shahzad Usmanihttp://openbooks.ning.com/profile/SheikhShahzadUsmani
वाह... ख़ुशी संग डर भी! समसामयिक तो है ही, तहे दिल से बहुत बहुत शुक्रिया आदरणीया राजेश कुमारी जी इस बेहतरीन शे'अर के लिए।
वाह... ख़ुशी संग डर भी! समसामयिक तो है ही, तहे दिल से बहुत बहुत शुक्रिया आदरणीया राजेश कुमारी जी इस बेहतरीन शे'अर के लिए। हा हा हा हा..................…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7570612016-04-10T18:13:29.432ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>हा हा हा हा.....................</p>
<p>आपका स्नेह सिर-माथे आदरणीय समर साहब </p>
<p></p>
<p>हा हा हा हा.....................</p>
<p>आपका स्नेह सिर-माथे आदरणीय समर साहब </p>
<p></p> मतले में शिकस्ते नारवा का दोष…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571552016-04-10T18:11:36.251ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>मतले में शिकस्ते नारवा का दोष आ गय अहै आदरणीया राजेश कुमारी जी. </p>
<p></p>
<p>फिर,<em> </em><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;"><em>न होंगे बंद अगर दहेज़ के दस्तूर देखिये</em> की तक्तीह कैसे की है आपने ?</span></p>
<p></p>
<p><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;">कहन के लिए ढेरों दाद </span></p>
<p><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;">हार्दिक शुभकामनाएँ </span></p>
<p>हा</p>
<p>हा हा हा.... </p>
<p>आपका स्नेह सिर-माथे आदरणीय समर साहब !</p>
<p></p>
<p>मतले में शिकस्ते नारवा का दोष आ गय अहै आदरणीया राजेश कुमारी जी. </p>
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<p>फिर,<em> </em><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;"><em>न होंगे बंद अगर दहेज़ के दस्तूर देखिये</em> की तक्तीह कैसे की है आपने ?</span></p>
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<p><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;">कहन के लिए ढेरों दाद </span></p>
<p><span style="color: #454545; line-height: 16.9px;">हार्दिक शुभकामनाएँ </span></p>
<p>हा</p>
<p>हा हा हा.... </p>
<p>आपका स्नेह सिर-माथे आदरणीय समर साहब !</p>
<p></p> मार्ग तो मार्ग है सही,कठिन कह…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571542016-04-10T18:11:26.706ZSheikh Shahzad Usmanihttp://openbooks.ning.com/profile/SheikhShahzadUsmani
मार्ग तो मार्ग है सही,कठिन कहीं आसान<br/>
जोश के संग होश भी,ले चल सीना तान।।.... [त्रिकल+3----]/शायद!
मार्ग तो मार्ग है सही,कठिन कहीं आसान<br/>
जोश के संग होश भी,ले चल सीना तान।।.... [त्रिकल+3----]/शायद! स्नेहिल प्रोत्साहन एवम् मार्ग…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571532016-04-10T18:06:36.273Zसतविन्द्र कुमार राणाhttp://openbooks.ning.com/profile/28fn40mg3o5v9
स्नेहिल प्रोत्साहन एवम् मार्गदर्शन के लिए कोटि कोटि आभार श्रद्धेय सौरभ सर।संकलनोपरांत भूल सुधार कर निवेदन करूँगा।सादर
स्नेहिल प्रोत्साहन एवम् मार्गदर्शन के लिए कोटि कोटि आभार श्रद्धेय सौरभ सर।संकलनोपरांत भूल सुधार कर निवेदन करूँगा।सादर सादर आभार वन्दनीया दी।सादर नम…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7571522016-04-10T18:03:32.680Zसतविन्द्र कुमार राणाhttp://openbooks.ning.com/profile/28fn40mg3o5v9
सादर आभार वन्दनीया दी।सादर नमन।
सादर आभार वन्दनीया दी।सादर नमन। अभी मेहनत करनी होगी आदरणीय शे…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7572402016-04-10T17:58:34.011ZSaurabh Pandeyhttp://openbooks.ning.com/profile/SaurabhPandey
<p>अभी मेहनत करनी होगी आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी जी. </p>
<p>वैसे आप प्रयास करते चलें </p>
<p>शुभेच्छाएँ </p>
<p></p>
<p>अभी मेहनत करनी होगी आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी जी. </p>
<p>वैसे आप प्रयास करते चलें </p>
<p>शुभेच्छाएँ </p>
<p></p> बहुत ही प्रोत्साहित करने वाली…tag:openbooks.ning.com,2016-04-10:5170231:Comment:7572392016-04-10T17:57:59.426ZSheikh Shahzad Usmanihttp://openbooks.ning.com/profile/SheikhShahzadUsmani
बहुत ही प्रोत्साहित करने वाली समीक्षात्मक टिप्पणी करने के लिए हृदयतल से बहुत बहुत धन्यवाद आदरणीया कान्ता राय जी।
बहुत ही प्रोत्साहित करने वाली समीक्षात्मक टिप्पणी करने के लिए हृदयतल से बहुत बहुत धन्यवाद आदरणीया कान्ता राय जी।